यशपाल की किताब ‘सिंहावलोकन’ की समीक्षा
(Narrative Poetry)
हरिवंशराय बच्चन की आत्मकथा में यशपाल और प्रकाशवती के प्रेम का ज़िक्र था। इनके बारे में पढ़ते हुए मैं इन दो किरदारों की ओर जबरदस्त आकृष्ट हुआ। इनक बारे में दूसरी किताबों म...
हरिवंशराय बच्चन की आत्मकथा में यशपाल और प्रकाशवती के प्रेम का ज़िक्र था। इनके बारे में पढ़ते हुए मैं इन दो किरदारों की ओर जबरदस्त आकृष्ट हुआ। इनक बारे में दूसरी किताबों म...
1. ऊपर चढ़ने की धमक में स्याह गहराइयों की अनदेखी एक गैर-जरूरी सलाह है पर कोई यह नहीं बतलाता कि ऊँचाई आत्महत्या की भी जगह होती है लावारिस-सी लाश है भविष्य जिस...
1. कमाल की कविता है स्मृति जिसकी परिधि में गुलाब के बचे ओस कण और पराग भी हैं जिसने बचाए रखा तन में मन और आत्मा में स्पंदन जिसने ताप को संताप और प्रेम को अध...
बहु संस्कृतियों, बहु धर्मों, बहु बोलियों और भाषाओं वाला अपना यह बहु देश है भारत। अपने आप में एक महाद्वीप को समेटे इस देश का अंदाज ही अलबेला है। एक साथ फकीरी भी और अमीरी भ...